
लखनऊ. Married Women Property Act 1874- Life Insurance लिया है और अगर आप चाहते हैं कि बीमा का पैसा आपकी पत्नी व बच्चों को ही मिले तो पॉलिसी पर विवाहित महिला संपत्ति अधिनियम 1874 का लाभ ले सकते हैं। बीमा अधिनियम की धारा 6 के Married Women Propery Act पत्नी और बच्चों के लाभों की सुरक्षा का प्रावधान करती है। अधिनियम की धारा 6 न्यास के निर्माण का भी प्रावधान करती है। इस एक्ट के लागू होने के बाद पूरी पॉलिसी न्यास बनी रहेगी। पत्नी या बच्चा एक न्यासी हो सकता है। पॉलिसी की न तो कुर्की की जा सकेगी और न ही कोई लेनदार इसको ले सकेगा। क्लेम का भुगतान सिर्फ न्यासी को ही होगा।
पॉलिसी के साथ अगर एक बार विवाहित महिला संपत्ति अधिनियम जुड़ गया तो फिर पॉलिसी को सरेंडर, नॉमिनेशन या समनुदेशन नहीं किया जा सकता। अगर पॉलिसी में कोई न्यासी नियुक्त नहीं है तो क्लेम की राशि राज्य के न्यासी को देय होगी।
- ट्रस्ट एक कानूनी एग्रीमेंट होता है जिसमें तीन पक्ष होते हैं
1- पॉलिसीधारक
2- ट्रस्टी
3- लाभार्थी - ट्रस्टी या तो व्यक्ति हो सकता है या फिर कोई निकाय जो आस्तियों के प्रबंधन के लिए जिम्मेदार है। ट्रस्टर द्वारा ट्रस्ट के रूप में जिसका स्वामित्व उन्हें सौपा जाता है। लाभार्थी एक व्यक्ति होता है जो ट्रस्ट से लाभ पाता है।
एमडब्ल्यूपी एक्ट के तहत बीमा इनसे मुक्त होता है-
- अदालती कुर्की
- लेनदारों
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